रुलाके गया इश्क: मेरा

फेसबुकीया दोस्ती एवं प्रेम की अनचाही परिणति

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Moumita Bagchi
Moumita Bagchi 22 Oct, 2020 | 1 min read
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अदिति आदित से पहली बार फेसबुक पर मिली थी। उन दिनों जब उसने अपना नया- नया फेसबुक प्रोफाइल बनाया था, जो भी मित्रता हेतु रिक्वेस्ट भेजता वह उसे तुरंत स्वीकार कर लेती थी। उन्नीस वर्ष की एक टीन-एज लड़की थी, सहपाठियों की देखा देखी उसने भी फेसबुक ज्वाइन कर लिया था।


आजकल स्मार्ट फोन और फेसबुक एकाउंट न होने पर सहपाठियों द्वारा भाव न मिल पाता था! इसलिए काॅलेज की दहलीज पर कदम रखते ही अदिति ने सबसे पहले पापा से जिद्द करके एक स्मार्ट- फोन खरीदवाया था। फिर उसने झटपट एक प्रोफाइल बना डाला और डिपी में लगाने के लिए सज-धजकर अपनी सहेली को बोली कि उसका एक सुंदर सा फोटो निकाल देने के लिए। उसने अपने फोन से ही फोटो खींचवा लिए और तुरंत प्रोफाइल में भी लगवा दिए। फिर क्या था, इसके बाद बीस- पच्चीस मित्रता- अनुरोध उसे रोज़ ही मिलने लग गए थे!


वैसे अदिति यह महसूस कर रही थी कि अपने सहपाठियों में भाव पाने के लिए एक और वस्तु की विशेष आवश्यक्ता है और वह है-- एक अदद ब्यायफ्रेन्ड! "कम से कम एक ब्यायफ्रेन्ड तो लाइफ में न होना ही चाहिए!" यह वह अपनी सहेलियों को अकसर कहते हुए सुनती थी। पर अदिति इतनी खुशनसीब न थी।


अदिति के पास इस विशेष सम्मान का बेहद अभाव था!अदिति का काॅलेज कोएड था। वह चाहती तो एक से एक बढ़कर काॅलेज में हैन्डसम लड़के थे, परंतु अदिति ने अपने मिस्टर राइट के लिए जो-जो मानदण्ड तय कर रखे थे, उनमें से कोई भी खरा न उतरता था! अतः अपने मिस्टर पर्फेक्ट की तलाश के लिए उसे अब केवल फेसबुक का ही आसरा था! उसे कोई ऐसा लड़का चाहिए था जिसके सामने वह अपना दिल - खोल सके। कोई रोक- टोक या पर्दा उन दोनों के दर्मियान न कभी हो! आदित, उसके हिसाब से ऐसा ही लड़का था।


मित्रता की सूचना फेसबुक मैसेन्जर से हुई थी! फिर वे लोग एक दूसरे से बातें करते हुए न जाने कब गहरे दोस्त बन गए । क्रमशः उनके ख्यालात और सोच भी मिलने लगे थे! रात को डिनर के बाद दोनों बतियाना शुरु करते तो कई बार बिना सोए ही कब भोर हो जाया करता उन दोनों को पता भी न चलता था- लगभग रोज़ का यह नियम बन गया था।


अदिति अपने दिन भर की बातें आदित से शेयर करने के लिए शाम से बार- बार घड़ी देखा करती थी। मैसेन्जर में मैसेज आने की मधुर टूं टूं की दो बार ध्वनि जब भी उसके कानों में पड़ती थी वह लपक कर फोन उठा लिया करती थी। कई बार संदेश के बाद संदेश भेजने में वह इतनी मशगूल हो जाती कि दूसरे हाथ में पकड़े हुए रोटी- सब्ज़ी का भी उसे ध्यान न रहता! उसकी माँ इसलिए कई बार शिकायत कर चुकी थी। परंतु-- अदिति के कानों पर उस समय कोई जूँ नहीं रेंग पाता था। उस पर उसके पापा का अंधा सपोर्ट उसे शुरु से ही मिला हुआ था। वह अपनी पिता की लाडली थी। इसलिए माँ कुछ भी कहती थी, तो पिता- पुत्री दोनों हँसकर टाल दिया करते थे।


ऐसे ही सब चल रहा था और धीरे-धीरे आदित के साथ बातें करते हुए एकदिन अदिति उसके प्रति गंभीर आकर्षण महसूस करती है। वह फेसबुक में अपने सुंदर- सुंदर फोटो डालती थी और इसी इंतज़ार में रहती कि आदित कब उसकी तारीफ़ करेगा! आदित के मुख से दो बोल तारीफ़ के सुनकर उसका दिन बन जाया करता था। ऐसे ही आदित की कही हुई हर बात हमेशा उसके मन- मस्तिष्क पर हावी रहा करता था। उस समय भी जब वह काॅलेज में होती थी, या कोई प्रोफेसर की लेक्चर एटेन्ड कर रही होती थी!


वह आजकल अपनी दुनिया में खोई- खोई रहती थी। कल्पना में एक ऐसी दुनिया की रचना वह नित्य किया करती थी जिसमें केवल वह और आदित हो, कोई तीसरा नहीं!


सहेलियाँ उसकी यह हालत देखकर उसके पीठ- पीछे खूब हँसती! और प्रकट रूप में कहतीं--


" इसका तो हो चुका!"


" जी हाँ, हम पर भी मोहब्बत का रंग चढ़ गया है। " अदिति अपने हँसते हुए सहेलियों को कितना भी शायराना अंदाज़ में समझाने की कोशिश करती जाती उतनी ही और उनकी हँसी की खुराक़ बनती जाती। पर इसकी परवाह किसे थी। अदिति अपनी ही दुनिया में मस्त थी।


इस तरह दो साल बीत चुके थे। आदित और अदिति दो अलग-अलग शहरों में रहते थे। लेकिन फोन पर, ह्वाट्स- एप, फेसबुक मैसेन्जर पर उनकी चैटिंग और काॅलिंग बराबर चलती रहती थी। इस तरह वे एक- दूजे को अपने करीब ही महसूस किया करते थे। हजारों पोज़ में अपने- अपने फोटो का आदान- प्रदान कर लिया था दोनों ने। इश्क का रंग उन दोनों पर खूब बढ़-चढ़कर बोल रहा था।


ऐसे ही एकदिन आदित ने अदिति को एक फोटो भेजा जिसमें वह सिर्फ पतलून पहने हुआ था। ऊपरी हिस्सा उसका बिलकुल अनावृत्त था! इसके बाद उसने अदिति से कहा कि उसे भी अपना ऐसा ही एक फोटो भेजे ताकि वह अदिति को अपने सपने में भी महसूस कर सकें।


पहले तो अदिति इस प्रस्ताव पर बहुत शर्मा गई, लेकिन आदित ने उसे बहुत मनाया जब तो वह आखिर मान गई। उसे मालूम था कि आदित एक अच्छा लड़का था, और वह उस पर विश्वास भी खूब करती थी।


और उसने एकदिन दोपहर को जब उसके माता- पिता कहीं बाहर गए थे और वह घर पर अकेली थी, तो उसने बिकीनी पहनकर , कई पोस बनाकर अपने कई फोटो खींचें और उसे भेज दिए।

उन फोटो को पाकर, आदित ने तो उसकी तारीफों के पुल बाँध दिए। अदिति ने तब उससे वादा लिया कि इन फोटो को आदित कभी किसी और के साथ भूल कर भी शेयर नहीं करेगा!


आदित को वादा करते देखकर अदिति आश्वस्त हो गई और अगले दिन उसकी तारीफों के आकर्षण में अदिति ने कुछ और वैसे ही फोटो मोबाइल से खींचकर उसे भेज दिए।


एक हफ्ते बाद आदित से बातें करते समय अदिति को कुछ अजीब-सा लगा! ऐसा पहली बार लगा कि जैसे वह उसे थोड़ा अवायड कर रहा है। उसने पूछा भी आदित से,


" तुम इस तरह क्यों बात कर रहे हो मुझसे!"


पर आदित कुछ न बोला।


अगले दिन जब आदिति काॅलेज पहुँची तो सब उसे हिकारत की नज़रों से घूर रहे थे। अदिति को कुछ समझ में न आया। और वह अपना बैग लेकर सीधे अपनी कक्षा में आ गई। कक्षा में प्रवेश करने पर देखा कि पाँच- छः लड़के एक मोबाइल में ज़ोर-ज़ोर से कोई विडियो चलाकर देख रहे हैं और बहुत मज़े ले रहे हैं। उसने धीरे से उनके पीछे जाकर वह विडियो देखा और वह हैरान रह गई-! ऐसा तो उसने सपने में भी न सोचा था।-- वह विडियो उसीका था!!


जो तस्वीरें उसने आदित को भेजा था ये उन्हीं तस्वीरों से बनाई गई विडियो क्लिप थी। वह रातोंरात एक अनचाही पोर्नस्टार में तब्दिल हो चुकी थी। उसके उन मस्ती के क्षणों में खींचे हुए तस्वीरों को लड़के रस ले लेकर देख रहे थे।


आँखों में अचानक आँसूओं का तूफान उमड़ पड़ा। उसने तुरंत आदित को फोन मिलाया! जैसे ही उसने आदित की आवाज़ सुनी उस पर जमकर वह बरस पड़ी! साथ में रोती भी जाती थी। उसने रोते- रोते यह ध्यान न दिया कि आदित ने उधर से उसका फोन काट दिया था।


इसके बाद जितनी बार उसने उसका फोन मिलाया वह विज़ी ही आया। टेक्स्ट करने गई तो पता चला कि उसने उसे ब्लाॅक कर दिया है।


किसी तरह वह घर पहुँची तो पता चला कि पापा आज ऑफिस से जल्दी घर आ गए हैं। उनके ऑफिस में भी वही विडियो वायरल हो गया था, जिसे देखकर उसके पापा के हाथ - पाँव सभी ठंडे हो गए थे। और वे घर आते ही सर पकड़कर बैठ गए थे।


मम्मी और अदिति दोनों लगातार रोए जा रही थी, तभी पापा के एक दोस्त वहाँ आ गए। उन्होंने पुलिस में आदित के खिलाफ़ रिपोर्ट लिखाने की बात कही।


अदिति को अब भी लगता था कि आदित ऐसा नहीं कर सकता था। कितना प्यार करती थी वह उससे और भरोसा भी।

बहुत अच्छा सिला दिया था उसने उसके भरोसे का!!


पुलिस स्टेशन में रिपोर्ट लिखाते समय पुलिस अधिकारी ने तो पहले अदिति को खूब आड़े हाथों लिया!! फिर उसके पापा से कहा, कि हर साल इसी तरह न जाने कितनी लड़कियाँ अपने प्यार में अंधी होकर ऐसी बेवकूफी कर बैठती हैं। और अपने पैरों पर आप ही कुल्हाड़ी मार लेती हैं। आज इंटनेट के जमाने में ऐसे फोटो बहुत जल्दी वाइरल हो जाता है। अब तक तो लाखों करोड़ो शेयर हो चुका होगा इनका!


"हम कोशिश करेंगे, परंतु अब हमारे हाथ में करने के लिए ज्यादा कुछ नहीं है। ज्यादा से ज्यादा हम उस लड़के को ढूँढकर एरेस्ट कर सकते हैं। परंतु जो एमएम एस ऑलरेडी बन चुका है, उनका कुछ नहीं हो सकता हैं।"


इधर अदिति अपने प्यार और बेवकूफी पर दोनों पर पछता रही थी और रोए जा रही थी।


आज ज़िन्दगी ने उसे एक बहुत बड़ा सबक सिखाया था। बिना सोचे समझे, भावनाओं में बहकर अब वह कभी किसी लड़के पर भरोसा नहीं करेगी!

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Moumita Bagchi

moumitabagchi

Comments

Appreciate the author by telling what you feel about the post 💓

  • Sumona Talukdar · 4 years ago last edited 4 years ago

    वर्तमान समय की एक कड़वी सच्चाई का सुन्दर वर्णन किया है तुमने।बधाई

  • Moumita Bagchi · 4 years ago last edited 4 years ago

    धन्यवाद, सखी❤

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