आओ लौट चलें स्वदेशी की ओर

चीन के सभी सामानों का बहिष्कार हमें घर से ही करना होगा इसी को से ओतप्रोत एक कविता #India / china

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Varsha Sharma
Varsha Sharma 29 Jul, 2020 | 1 min read
#winner

आओ लौट चलें स्वदेशी आंदोलन की ओर


 आर्यवर्त की शान निराली

 लौट चलो अपनी संस्कृति

 की ओर

 सौगंध हमें अपने शहीदों की

 चलने ना देंगे चीनियों का जोर


 सस्ता सामान बेचते हैं हिंद में

 नहीं टिकाऊ और चलने वाला

बहिष्कार बाहर के उत्पादों का

 अब है भारत करने वाला


 

सुई से लेकर हवाई जहाज तक

 आत्मनिर्भरता को अपनाएंगे

जो हमसे छल कपट करें

 और रखे नफरत अपार

 उनसे नहीं करना हमें

 अब कोई भी व्यापार



एक अकेले के करने से क्या होगा? 

यह सोचना वीर सपूतों अब हमें बंद करना होगा

 बूंद बूंद से सागर भरता, चलो वह बूंद बनने की ओर


घर के जयचंदो से निपटो आत्मनिर्भर बनो पुरजोर

पूरे विश्व में फैला दो

 भारत है अब भी सिरमौर

 बढ़ेंगे हम स्वदेशी की ओर



 उठो हिंद वासियों आंखें खोलो

 घर से ही शुरुआत करो

अब दिखा दो देशभक्ति का जोर

बहुत कमाया भारत से चीनी ने

आओ लौट चलें फिर स्वदेशी आंदोलन की ओर

वर्षा शर्मा

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Varsha Sharma

varshau8hkd

Comments

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  • Sushma Sandeep · 4 years ago last edited 4 years ago

    देशभक्ति की भावना से ओतप्रोत बहुत ही सुंदर रचना

  • Varsha Sharma · 4 years ago last edited 4 years ago

    आपका हृदय तल से आभार

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