हमें तो लड़की पसंद है रिश्ता पक्का , आकांक्षा की सास ने उसको पसंद किया और अंगूठी पहना दी| और 6 महीने बाद शादी का मुहूर्त निकला |आकांक्षा भी सोचते है दिल्ली जैसे शहर में ही है शादी ..,.....तो लोग भी नई सोच वाले ही होंगे|
आजकल व्हाट्सएप तो जानते ही हैं सब ,,,,,सासू मां ने आकांक्षा से बातें करना शुरू किया| पसंद तो उन्होंने उसकी सादगी देखकर किया था..........लेकिन अब धीरे-धीरे फोन पर बातें होने लगी तो पता चलने लगा | सासू मां ने कहा कि तुम थोड़ा वजन कम कर लो लहंगे में अच्छे लगोगे| तो घरवालों ने यह मिशन शुरू कर दिया सुबह उठकर घुमाना ...डाइटिंग कराना आकांक्षा ने दो-चार दिन किया लेकिन उसे गुस्सा आने लगा| 1 दिन सासू मां ने कहा कि तुम बाल बड़े कर लो मैं तुम्हें तेल बता दूंगी ऐसा तेल है कि 1 महीने में फर्क लग जाएगा| शादी तक तो बहुत अच्छे बाल हो जाएंगे| आकांक्षा सोचने लगी है भगवान लंबे बाल वाली लड़की चाहिए तो उसे पसंद करते |लेकिन पसंद का क्या है| आकांक्षा के घर वाले लड़के को कोई इंस्ट्रक्शन नहीं दे रहे थे | अब तो आकांक्षा को कोफ्त होने लगी उसने सोचा मां से बात की मां ने कहा कि यह रिश्ता ठीक है . और हर सासू मां अपनी बहू को अच्छा दिखाना चाहती है फिर आकांक्षा....कुछ बोली नहीं| आज भी लड़कियां पढ़ी लिखी है लेकिन सासु जी ने जो कह दिया वह तो जैसे लड़की वालों के लिए पत्थर की लकीर हो गया| जमाना चाहे कितना भी बदल रहा हो लेकिन आज भी लड़की वाले लड़के की मां की बात नहीं मना कर पाते हैं एक दिन बोली बाहर के कुछ काम भी सीख लो जैसे बैंक जाना है और यह सब करना|
आज का जमाना सीधे-साधे लोगों का नहीं ??फायदे की बातें कह रही थी लेकिन आकांक्षा सोच रही थी| यह तो पूरी तरह बदलने पर आमादा है जब सुबह उसके चाची ने उसको उठाया उसको भूख लगी थी | चाची ने बड़ा गुस्सा किया|तुम्हारी सासू मां का फोन आया था कि तुम डाइटिंग करोगी और वॉक पर जाओगी |अब आकांक्षा कुछ बोल नहीं पाई चाची ने बड़े प्यार से कहा था और वह चली गई ,परंतु जाते ही वीकनेस के कारण गिर गई|
चाची साथ ही थी तो फटाफट उसको हॉस्पिटल में ले जाया गया| उसको ग्लूकोस चढ़ाना पड़ा और जब रोहन को पता चला तो वह भी आकांक्षा को हॉस्पिटल देखने आया उसको देखकर आकांक्षा की आंखों में आंसू आ गए .......उसने कोई बात नहीं की| जब उसे पता लगा कि यह सब उसकी मां के कहने पर हो रहा है तो उसने शादी से इंकार कर दिया| अब सब कहने लगे कि शादी से इंकार क्यों? ???हम तो आपकी सब बात मान रहे हैं रोहन ने कहा इसलिए मैं इंकार कर रहा हूं कि आगे चलकर भी आप हमारी गलत बातों को भी ना माने जो बात आकांक्षा को अच्छी नहीं लगती है उसको पसंद नहीं है ....ना कोई करें| आज के जमाने में आपने भी तो सोचा होगा कि आपको कैसा दामाद चाहिए क्या आपने कभी मुझे बदलने की कोशिश की???तो मेरी मां अभी से आकांक्षा को क्यों बदलना चाहती है???| हम दोनों का रिश्ता बराबरी का होगा तभी हम खुश रह पाएंगे |ऐसे ऐसे सपने दिखाकर मैं कभी खुश नहीं रह पाऊंगा| तभी वहां सासू मां आ गई | वह भी बहुत शर्मिंदा थी और बोली बेटा मुझे माफ कर दो | मैंने तुम्हारी जगह रहकर नहीं सोचा |अगर सोचा होता तो शायद ऐसी गलती ना करती
........अब आकांक्षा मुस्कुरा रही थी कि जीवनसाथी के रूप में उसे इतना अच्छा पति मिलने वाला है जो अभी से बराबर समझता है वह भी महान नहीं बनना चाहती| लेकिन अपनी फैमिली को बार-बार बेइज्जत होकर देख कर भी चुप रहना जैसे मजबूरी बन गई थी|
दोस्तों ऐसा अक्सर होता है कि सभी लड़कियों को पसंद कर ले जाता है |और फिर उनको थोड़ा वेट कम कर लो.......थोड़ा कलर फेयर कर लो ......थोड़े बाल लंबे कर लो इन छोटी-छोटी बातों को जो जोर देकर कहा जाता है तो ना चाहते हुए कुछ कह भी नहीं सकती और कर भी नहीं सकती लेकिन आज की दुनिया बहुत आगे बढ़ गई है हमें भी इस दुनिया के साथ चलना होगा और एक दिन नारी दिवस ना मनाए बल्कि कदम कदम पर औरतों का साथ दें|.... तभी बनेगी दुनिया बराबरी वाली
वर्षा शर्मा
Comments
Appreciate the author by telling what you feel about the post 💓
Right...👍👍👍
Thanku vinitaa ji
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