मनुष्य एक सामाजिक प्राणी है | समाज हम सब से ही बनता है| किसी एक की जिम्मेदारी नहीं हो सकती | जैसे बच्चों को पालने के लिए माता-पिता दोनों की जिम्मेदारी होती है उसी तरह समाज के विकास के लिए सभी का योगदान बहुत महत्वपूर्ण है |
सरकार ,आसपास के लोग , संस्था ,लेखक हम सब की सामूहिक जिम्मेदारी होती है|
हां लेखक को हमेशा भेदभाव से रहित होकर सभी पक्षों की अच्छी जानकारी होने के बाद ही अपनी लेखनी से बदलाव लाने की कोशिश करनी चाहिए |
सभी के सामूहिक प्रयासों के द्वारा ही हम उत्तम समाज का निर्माण कर सकते हैं|
वर्षा शर्मा
दिल्ली
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