Shubhangani Sharma
Shubhangani Sharma 29 Nov, 2020
उसका मौन
अरे तुम कितना बोलती हो, तुम्हारी आवाज़ कितनी कर्कश हो गयी... दिन भर बच्चों पर चिल्लाती रहती हो, वो मधुर वाणी कहाँ खो गयी...?? यह सुनते सुनते वह त्रस्त हो गयी, क्योंकि उसकी बातें कोई समझा ही नहीं... तब वह स्वयं के मौन में ही खो गयी।।

Paperwiff

by shubhanganisharma

29 Nov, 2020

Unheard

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