Ruchika Rai
Ruchika Rai 15 Feb, 2024
गुलाब और काँटे
अरे वाह ,कितने प्यारे प्यारे गुलाब हैं।जैसे ही साधना ने तोड़ने के लिए हाथ बढ़ाया उसके हाथों में काँटे चुभ गएं और वह चिल्ला उठी। तभी उसकी माँ ने समझाया,बेटा, यह काँटे ही तो हैं जो इस गुलाब की सुरक्षा कर रहे वरना तुम इसे झट से तोड़ देती। ठीक उसी तरह,जैसे माँ बाप अपने बच्चों को प्यार करने के साथ डाँटते भी हैं ताकि सही मार्ग पर ला सकें और उन्हें भटकने दें। काँटों का भी अपना ही महत्व है।

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by ruchikarai

15 Feb, 2024

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