Ruchika Rai
Ruchika Rai 07 Jul, 2022
बारिश
ये बारिश की बूँदें और मन का सुकून, टिप टिप गिरती है बूँदें प्यार की धुन, चाहतों का तेरे मेरे दिल में उतरना, बारिश की शीतलता मन सदा चुन। विरह की आग को बढ़ाती है सदा ये, बेचैनियों का सबब मन तू सदा ही सुन मिल जाएं जीने की वजह तो करार आये, कोई पुकार लें और गुम हो जाऊँ मैं सुन।

Paperwiff

by ruchikarai

07 Jul, 2022

Rain

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