सुंदर मन हैं, सुंदर चितवन ,सुंदर मेरी बगिया....
रंग बिरंगे फूलों संग, जो मैं समय बिताऊ...
सुबह भोर जब मैं देखूं, मेरा मन हो जाए बावर
दोपहर की तेज किरणो से,
तूझे बचाऊ मैं छांव देकर...
शाम ढले तो पानी देकर मेरी बगिया ....
मेरी बगिया गुलजार और मुस्काये
तुम्हें देख मैं खुश हो जाऊं....
देख तेरी हरियाली.... मैं भी यू हरिया हो जाऊं
सुंदर मन हैं,, सुंदर चितवन ,,सुंदर मेंरी बगिया
रात को जब मै देखूं तुमको,
मनमोहक सुगंध फूलों से जो आऐ
मन मेरा हो जाए मंत्रमुग्ध ...नींदू मुझे बुलाये....
भोर सुबह से रात बितने को आये ..
तेरे फूलों का गुलशन, मन मे मेरे समाये....
सुंदर मन है, सुंदर चितवन, सुंदर मेरी बगिया....
सकुन के दो पल तेरे संग बिताऊ.....
💐💐....@ नेहा....
Comments
Appreciate the author by telling what you feel about the post 💓
Well penned
Thanks sonia ji💐💐
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