मैं ही सृष्टि हूं ,मैं ही रचनाकार हूं..
मेरे ही इशारे से,
दुनिया करती निर्माण है।
तेरी सांसें मुझसे हैं, मै ही तो तेरा आधार हूं।
एक-एक कर पेड़ लगाओ
तभी मैं फिर से खिल पाऊ
मैं ही सृष्टि हूँ ,मैं ही रचनाकार हूं।
हरे भरे पेडों को न काटो
यही बात बतलानी हैं
इंसा ना करो ऐसा काम, जिससे हो तुम्हारा नाम बदनाम
हो रहा जो प्रदूषण, जलवायु परिवर्तन,
इससे तुम कुछ सिख लो
विश्व पर्यावरण दिवस मनाओ, जागृति हर इंसान हो।
मैं हीं सृष्टि हुँ,मैं ही रचनाकार हूं।
मैं ही तो तेरा आधार हूं।।।
@ नेहा श्रीवास्तव
Comments
Appreciate the author by telling what you feel about the post 💓
Bahut sunder
Thanks di☺☺
Very nice neha
Thanks babita ji
Umda... Bahut accha Likha hai behan
Thanks dear sister😊😊
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