Namrata Pandey
17 Sep, 2020
आंखों ही आंखों में
मुलाकातें जबसे होने लगी हैं
बातें हमारी कम होने लगी है
शब्दों में होती थी जो दिल की बातें
आंखों ही आंखों में होने लगी हैं
Paperwiff
by namratapandey
17 Sep, 2020
नैनों की ये बात नैना जाने रे
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