सपना हम इस बार गर्मी की छुट्टियों में घूमने नहीं जा सकेंगे बहुत काम है ऑफिस में क्यों ?चौक उठी सपना कितने अरमान से बच्चे साल में एक बार इन छुट्टियों की प्रतीक्षा करते हैं ।सेंट्रल गवर्नमेंट में सर्विस थी नितिन की दो बच्चे और प्यारी पत्नी के साथ आनंद पूर्वक गृहस्थी चल रही थी रोज की तरह नितिन ऑफिस चला गया शाम को सपना ने सोचा आज मैं ही हाट से कुछ सब्जियां फल ले आती हूं थक जाते हैं। नितिन ऑफिस से लौट कर हाट दूर था स्कूटी से वह निकल पड़ी सब्जी ले कर लौट रही थी तो देखा यह क्या? नितिन पास के एक मकान से निकलता हुआ दिखा और घर की तरफ चला सपना भी घर की तरफ चल पड़ी अनजान हो कर उसने नितिन से पूछा आज आप लेट हो गए? हां बहुत काम था ऑफिस में नितिन बोला सपना कशमकश में खाना बनाने लगी अगले दिन पड़ोस के शर्मा जी के साथ नितिन घर लौटा गाड़ी से उतरते ही शर्मा जी बोले थैंक्यू नितिन भला हो भाभी जी नितिन का पास ही हाट में मुझे मिल गया लिफ्ट दे दी सपना फिर सोच में पड़ गई यह पास के हाट में कहां जाते हैं ?
कहीं किसी से नहीं नहीं यह मैं क्या सोचने लगी पर दिल में उथल-पुथल होने लगी उसके
सपना आज फिर सब्जी लेने हाट गई हुई थी उसकी फिर नजर नितिन पर पड़ी व उसी मकान की तरफ जा रहा था आज सपना ने उसका पीछा किया और छुप कर दरवाजे पर खड़ी होकर अंदर की बातें सुनने लगी ।
"तुम ना होते तो मेरा क्या होता ? इस दुनिया में कोई किसी का नहीं होता।
नितिन बोला कुछ मत कहो बस लेटी रहो मैं कल फिर आऊंगा सपना दरवाजे की दूसरी तरफ से भाग कर अपने घर चली गई पसीने से तर व तर घर पहुंची वह कई सवालों से घिर गई दूसरे दिन सपना ने इस बात से पर्दा उठाने की ठानी फिर स्कूटी निकालकर हाट की तरफ बढ़ी उसके कदम उस मकान की ओर चल पड़े यह क्या उसने देखा उस मकान पर लोगों की भीड़ लगी हुई थी वह भीड़ में खड़ी हो गई एक वृद्धा कह रही थी एक तो पहले ही इस बूढ़ी मां का बेटा चल बसा अब यह भी 1 महीने से बीमार थी पैसे की तंगी थी सो इलाज कराने के लिए देवता बनकर उसके बेटे के ऑफिस का साथी नितिन उसकी तन मन धन से सेवा कर रहा था एक क्षण में ही सपना को सारे सवालों के जवाब मिल गए नितिन के लिए उसका मन श्रद्धा से भर उठा आज उसे अपने पति के इस रूप के दर्शन हुए गर्व से भर उठी
सपना ने जब घर आकर नितिन से पूछा कि उसने यह बात क्यों छुपाई तो नितिन बोला बुरा काम तो सब छुपकर करते हैं पर नेक काम गुप्त रखो तो दुआ मिलती है
दोस्तो आपको मेरा ये ब्लॉग कैसा लगा अपनी राय जरूर दे।आज जहां दुनिया में विकृति और घिनौनापन फैला हुआ है वहां नेक लोग भी अपने काम में लगे हैं।
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Appreciate the author by telling what you feel about the post 💓
सुंदर रचना
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