सांता।।..मां सच बताओ ना आज का दिन तो हमारा भूखा नहीं जाएगा
ये जगमगाती रोशनी,सुना है तोहफे लेकर आज सांता आएगा
कब आएगा कैसे आएगा,क्या लाएगा कोई मुझे ये बताएगा
क्या वो खाना, कपड़े ,और किताबे भी लाएगा,क्या वाकई सांता आएगा
झोले में कुछ सांता वाले मुखौटे डाले,और आंसू की बूंद को आँख में सीच कर, होठो को भीच कर, चेहरे पर हसी का दरिया लेकर मां उससे कुछ यू बोली
बेटा जो बिक गए ये मुखौटे सारे, तो खाना कपड़े और तोहफे सब लेकर सांता आएगा
वरना रोशनी कम है हमारे घरों में शायद सांता देख नहीं पाएगा, और हर दिन की तरह ये दिन भी, ऐसे ही गुजर जाएगा
Comments
Appreciate the author by telling what you feel about the post 💓
बहुत सटीक
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